दिल्लीः दिल्ली से आने वाले सैलानियों की बढ़ती संख्या को देखते हुए केरल सरकार के पर्यटन विभाग नें 03 मार्च, 2017, को दिल्ली में रोड शो आयोजित किया। यह रोड शो शहर के अग्रणी ट्रैवेलर्स एजेंट्स तथा टूर आॅपरेटर्स को आकर्शित करेगा तथा उन्हें ‘ईश्वर के अपने देश’ के खूबसूरत एवं विहंगम दृष्य दिखाएगा। श्री के. पी. नंदकुमार, डिप्टी डायरेक्टर, केरल टूरिज़्म के नेतृत्व में आए दल में राज्य के टूरिज़्म एवं ट्रेड उद्योग के बड़े खिलाड़ी शामिल थे। नए सहयोग विकसित करने के अलावा इस रोड शो नें नए अभियान, अनुभव तथा आकर्षण को पेश किया, जिन्हें यात्री केरल यात्रा के दौरान महसूस कर सकेंगे।
केरल टूरिज़्म: अब तक की कहानी…
साल 2016-17 के लिए मार्केटिंग अभियान, ‘ईश्वर के खुद के देश ’ के द्वारा आगंतुकों को पेश किए जाने वाले अद्वितीय आकर्षणों के आधार पर बनाए गए हैं। सरकार द्वारा अपनाए गए अत्याधुनिक मार्केटिंग अभियान ने राज्य को दुनिया के टाॅप-टियर ‘मस्ट विज़िट’ 1⁄4 सर्वश्रेष्ठ करने योग्य1⁄2 स्थान के रूप में स्थापित कर दिया है। सरकार द्वारा उठाए गए कदमों के फलस्वरूप पिछले साल यहां आने वाले पर्यटकों की
संख्या में भारी वृद्धि हुई है।
# सितंबर, 2016 में सितंबर 2015 के मुकाबले विदेशी पर्यटकों की संख्या में 5.61 प्रतिषत की वृद्धि हुई है।
# सितंबर, 2016 में सितंबर, 2015 के मुकाबले घरेलू पर्यटकों की संख्या में 6.01 प्रतिषत की वृद्धि हुई है।
# वर्ष 2015 में विदेशी मुद्रा में आय 6949.88 करोड़ रु. थी, जो पिछले साल के मुकाबले 8.61 प्रतिशत ज्यादा थी।
# साल 2015 में पर्यटन से प्राप्त होने वाला कुल राजस्व 1⁄4 प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष1⁄2 26689.63 करोड़ रु. था, जो पिछले साल के मुकाबले 7.25 प्रतिषत ज्यादा था।नए अभियानों के द्वारा केरल टूरिज़्म ने ज्यादा पर्यटकों को आकर्षित किया!
सामुदायिक संलग्नता विकसित करने के लिए ग्रीन कारपेट अभियान
सितंबर, 2016 में लाॅन्च किया गया ग्रीन कारपेट अभियान, राज्य के चुनिंदा पर्यटन स्थलों को फेसलिफ्ट देने वाले 10 प्वाईंट के एजेंडे पर केंद्रित है। यह अभियान इस बात का प्रमाण है कि अद्वितीय अनुभव प्रदान करने के अलावा, सुरक्षा, स्वच्छता, सफाई एवं कचरा प्रबंधन की वैज्ञानिक विधियों के लिए सघन प्रयासों की जरूरत है। यह अभियान राज्य में पर्यटन के विकास के लिए सामुदायिक सहभागिता विकसित करने की जरूरत पर बल देता है।
आॅन द ट्रेल आॅफ द स्पाईस रूट…
‘स्पाईस मार्ग का पुनरोद्धार’ राज्य सरकार द्वारा चलाया जा रहा सबसे बड़ा मुख्य अभियान में से एक है। टूरिज़्म के द्वारा दो हजार साल पुराने स्पाईस मार्ग, जो भारत के दक्षिण पश्चिमी तट को यूरोप से जोड़ता है, का पुनरोद्धार
करने और इसे बढ़ावा देने के केरल सरकार के अभियान को यूनाईटेड नेशंस वल्र्ड टूरिज़्म आॅर्गेनाईज़ेशन 1⁄4 यूएनडब्लूटीओ 1⁄2 के सहयोग से बल मिला है।
सितंबर में केरल के स्थानीय मसाला बाजार ने उन लोगों को भी अचंभित कर दिया, जो अपनी खाना
बनाने की प्रतिभा से लोगों को चकित करते आए हैं। ‘स्पाईस रूट कुलिनरी फेस्टिवल’ की तैयारी करने वाले
शेफ की 17 टीमों ने प्रतियोगिता के लिए मसाले और अवयव चुनने के लिए कोच्चि के परंपरागत बाजारों
की यात्रा की। वो बाजार की मोहक खुशबू , दृष्यों और आवाज से चकित थे और ऐसा महसूस कर रहे थे,
जैसे वो ‘स्वर्ग’ में आ गए हों।
यह फेस्टिवल बड़े ही जोश के साथ प्रारंभ हुआ। 15 देशों के अग्रणी शेफ ने अपने लजीज और स्वादिस्ट
व्यंजनों से लोगों को मोहित कर दिया, जिनकी प्रेरणा उन्हें ऐतिहासिक ‘स्पाईस रूट’ से मिली। हर टीम
अपने-अपने देश की संस्कृति एवं रसोई की एम्बेसडर थी; उन्होंने सामूहिक रूप से महत्वाकांक्षी ‘स्पाईस रूट पुनरोद्धार परियोजना’ को एक वैश्विक मंच तथा स्प्रिंगबोर्ड प्रदान किया। इस चार दिवसीय जश्न का समापन पुरस्कार वितरण के साथ हुआ। फ्रांसीसी टीम को सर्वोच्च सम्मान मिला एवं मिस्र और थाईलैंड भी विजेता की सूची में आए। स्थानीय रसोई को बढ़ावा देने के लिए ‘केरलशेफ’ प्रतियोगिता की सर्वोच्च टीमों को भी सम्मानित किया गया।
कोच्चि मुजिरिस बाईएनेल
कोच्चि मुजिरिस बाईएनेल एक अंतरराष्ट्रीय आधुनिक कला उत्सव है, जिसने केरल को ‘बाईएनेल की भूमि’ की पहचान प्रदान की है। राज्य के पर्यटन विभाग ने बाईएनेल के तीसरे एडिशन को बढ़ावा देने के लिए 7.5 करोड़ रु. आबंटित किए हैं। यह ईवेंट राज्य के पर्यटन सेक्टर के विकास में सामुदायिक सहभागिता का एक जगमगाता उदाहरण है। बाईएनेल के द्वारा नोटबंदी के चलते आए संकट के समय एक अद्वितीय आर्थिक ज़ोन के निर्माण में मदद मिली, जब राज्य में पर्यटकों की संख्या में कमी आई थी।
अन्य सराहनीय परियोजनाएं…
केरल टूरिज़्म ने प्रकृति पर आधारित एक अद्वितीय साॅफ्ट एडवेंचर होलिडे प्रोग्राम नैटवेंचर प्रारंभ किया है। इसमें प्रमुख टूरिज़्म उत्पादों जैसे वाईल्डलाईफ, हिल स्टेशनों, बीच, बैकवाटर्स आदि का प्रयोग किया
जाएगा और यहां पर कई एडवेंचर गतिविधियों की संभावनाएं तलाषी जाएंगी। केरल नैटवेंचर गतिविधियों
में ट्रैकिंग, कैंपिंग, राॅक क्लाईंबिंग, जंगल टूर, वाईल्डलाईफ सफारी, बर्ड वाॅचिंग, साईक्लिंग, कयाकिंग, कैनोईंग और पैराग्लाईडिंग शामिल हैं। इंदिरा गांधी इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर वच्र्युअल रियल्टी कायोस्क ने केरल के बैकवाटर्स को जीवंत कर दिया और आगंतुकों को अद्वितीय अनुभव पेश किए। वीआर हेडसेट के साथ देखी गई दो मिनट की फिल्म ने दर्षकों को केरल के प्रान्त बैकवाटर्स में बहते हुए हाउसबोट्स में पहुंचा दिया।
केरल टूरिज़्म के नए प्रोमोशनल्स एवं मार्केटिंग अभियान, वीआर ‘एक्सपीरियंस साईट’ ने आॅपरेषनल होने के बाद लोगों को बहुत ही आकर्षित किया और इस बात को प्रमाणित भी कर दिया कि केरल पर्यटन के विकास के लिए टेक्नाॅलाॅजी केप्रयोग में सबसे आगे है।